लू के थपेड़ो के बीच ठंडी हवा का झोका
अच्छा लगता है |
कभी -२ किसी की हँसी की खातिर झूट भी
सच्चा लगता है |
यु तो समय की आंधियो में झुर्रियो के साथ
पक चुके है बाल भी |
फिर भी कही किसी कोने में अपना दिल भी
बच्चा लगता है |
अच्छा लगता है |
कभी -२ किसी की हँसी की खातिर झूट भी
सच्चा लगता है |
यु तो समय की आंधियो में झुर्रियो के साथ
पक चुके है बाल भी |
फिर भी कही किसी कोने में अपना दिल भी
बच्चा लगता है |
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